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‘दीपक’ के भ्रष्टाचार का एसआईटी करेगी दूध का दूध और पानी का पानी!

चुनाव से पहले कांग्रेस में शामिल हुए दीपक की बढ़ेंगी मुश्किलें, संगठन भी अलग थलग

देहरादून, उत्तराखंड: चुनाव से पहले उत्तराखंड शासन ने जिला पंचायत अध्यक्ष दीपक पर लगे भ्रष्टाचार के आरोप सिद्ध करने के साथ ही मामले में एसआईटी गठित कर दी है। जिला पंचायत उत्तर काशी में करोड़ों के गोलमाल की पुष्टि के बाद एसआईटी अब मामले में दूध का दूध और पानी का पानी करेगी। चुनाव से पहले कांग्रेस में शामिल हुए दीपक की मुश्किलें इससे और बढ़नी तय है। सरकार चाहे किसी भी दल की बने लेकिन दीपक और उनकी पूरी टीम के भ्रष्टाचार पर बड़ी कार्रवाई हो सकती है। भ्रष्टाचार के इन गंभीर मामलों के साक्ष्यों में छेड़छाड़ न हो इसलिए उत्तराखंड शासन ने यह बड़ी कार्रवाई आचार संहिता लागू होने से एक दिन पहले ही की है। उत्तराखंड शासन के सचिव नितेश कुमार झा के अनुसार प्रकरण में आयुक्त, गढ़वाल मण्डल की विस्तृत अन्तिम जांच आख्या एवं दीपक बिजल्वाण, अध्यक्ष जिला पंचायत उत्तरकाशी द्वारा प्रस्तुत प्रत्युत्तर का शासन स्तर पर सम्यक परीक्षण करते हुए अध्यक्ष, जिला पंचायत उत्तरकाशी के विरूद्ध आरोप संख्या 1(ब). 1 (स). 4 व 5 की पुष्टि हुई है। बिजल्वाण के विरुद्ध पुष्ट पाये गये आरोप वित्तीय अनियमितता से सम्बन्धित हैं जिनमें निविदा प्रक्रिया में अनियमितता बरते जाने तथा कार्य पूर्ण होने के पूर्व ही भुगतान कर दिये जाने जैसे गम्भीर आरोप सम्मिलित हैं। इस सम्बन्ध में माननीय महाधिवक्ता उत्तराखण्ड का परामर्श भी प्राप्त किया गया, उनके द्वारा दिनांक 10.11.2021 को दिये गये परामर्श का संक्षिप्त विवरण निम्नानुसार है –

I am of the view that since this is amatter of embezzlement and misappropriation of money, therefore, for bringing forward the truthfulness of the matter and also for doing justice to the alleged parties, an independent enquiry through some independent agency may be conducted in this matter. Exeactly, this is also prayer of the petitioner in the PIL No. 170 of 2021. The State exercising its power under Section 138 of the Panchayati Raj Act, during pendency of such enquiry, may take suitable action for protecting the independent enquiry from hampering and tempering of the witnesses.”

आयुक्त, गढ़वाल मण्डल की अन्तिम जांच आख्या दिनांक 21.06.2021 उपलब्ध कराये गये साक्ष्यों, दीपक बिजल्वाण अध्यक्ष, जिला पंचायत उत्तरकाशी को निर्गत कारण बताओ नोटिस के सापेक्ष उपलब्ध कराये गये प्रत्युत्तर एवं उत्तराखण्ड पंचायतीराज अधिनियम, 2016 में उल्लिखित व्यवस्थाओं तथा स्वपठित नियमावलियों के विश्लेषण से इसका समाधान हो जाता है कि दीपक बिजल्वाण, अध्यक्ष, जिला पंचायत उत्तरकाशी द्वारा अपने पदीय कर्तव्यों एवं दायित्वों के निर्वहन में अपारदर्शी एवं वित्तीय नियमों के प्रतिकूल कार्य किया गया है।
साथ ही प्रकरण में माननीय महाधिवक्ता, उत्तराखण्ड के परामर्श के आधार पर सम्यक विचारोपरान्त विशेष जांच दल (एस.आई.टी.) से जांच कराये जाने का निर्णय लिया गया है। माननीय महाधिवक्ता के परामर्शानुसार दीपक बिजल्वाण, अध्यक्ष, जिला पंचायत द्वारा जांच प्रक्रिया को प्रभावित करने, अभिलेखों / साक्ष्यों से छेड़छाड़ न किये जाने तथा तथा गवाहों को प्रभावित न किये जाने के उद्देश्य से एवं प्रस्तर-5 उल्लिखित तथ्यों के आलोक में उपरोक्तानुसार तत्काल प्रभाव से उत्तराखण्ड पंचायतीराज अधिनियम, 2016 की धारा-138(1) के प्राविधानों के अन्तर्गत दीपक बिजल्वाण को अध्यक्ष, जिला पंचायत उत्तरकाशी के पदीय दायित्वों से हटाया जाता है।

यमुनोत्री में शह मात का खेल जारी…

एक ओर उत्तराखंड शासन ने यह बड़ी कार्रवाई की है वहीं दूसरी ओर अगर दीपक को कांग्रेस से टिकट मिल भी गया तो यमुनोत्री में पहले से ही मैदान में कांग्रेस के संजय डोभाल और पूरा संगठन कहीं ना कहीं अलग-थलग खड़ा है संगठन के कई लोगों का कहना है कि बाहरी लोगों की भीड़ वोट में कभी भी नहीं बदली जा सकती। कैडर वोट पाने के लिए जिस संगठन का दीपक सहारा लेना चाह रहे हैं उसके सभी धुरंधर संजय डोभाल के पाले में खड़े हैं। यह भी देखना होगा कि संजय डोभाल को कांग्रेस शांत कैसे करा पाएगी या फिर संजय डोभाल दूसरे दल से या निर्दलीय मैदान में उतर कर समीकरणों को पूरी तरह बिगाड़ सकते हैं। ऐसे में किसी ना किसी को नुकसान होना है। दूसरी ओर भाजपा की बात की जाए तो वहां से मनवीर चौहान के साथ ही अन्य नेता भी अपनी दावेदारी में लगे हैं। वर्तमान विधायक केदार सिंह रावत भी जोर-शोर से तैयारियों में जुटे हैं। अब देखना होगा कि यमुनोत्री में कौन कितने गहरे पानी में खड़ा है।

मामले में Sit गठित

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